मास्क बनाकर जान बचाने का काम कर रही है श्रीमती शैलजा गोलवलकर


“प्रेरक  प्रसंग”
*मास्क बना कर जान बचाने में लगी श्रीमती शैलजा गोलवलकर*


उज्जैन 11 अप्रैल। कर्फ्यू  एवम लोक डाउन के दौरान एक तरफ जहां लोग  घर में रहने की आह्वान का पालन नहीं कर रहे हैं , नियम  तोड़कर घरों से बाहर निकल रहे हैं और अपनी जान जोखिम में डाल रहे हैं ,वहीं एक महिला ऐसी भी है जो घर में रहकर दूसरों के जीवन की रक्षा की चिंता कर रही है। स्वास्थ्य विभाग में लेखापाल के पद पर कार्यरत श्रीमती शैलजा गोलवलकर  लोकडाउन के दौरान घर में रहकर ही  समय व्यतीत कर रही है ।उन्होंने खाली समय का उपयोग मास्क बनाने के लिए किया है ।  वे  प्रतिदिन सैकड़ों मास्क बनाकर न केवल अपने  साथियों बल्कि आम जनता को भी उपलब्ध करा रही है ,जिससे कि कोरोनावायरस से उनकी रक्षा  हो  सकें । वे  कहती है   कि पहले तो  लोग घरों में ही रहे और जब भी  जरूरी काम से घर से बाहर निकले तो मास्क पहनकर निकले। केवल मास्क  ही   कोरोना  के संक्रमण से बचा सकता है  ।निश्चित रूप से श्रीमती शैलजा का  कार्य  अनुकरणीय है।  जब घर घर में इस तरह के मास्क बनेंगे और वितरित होंगे    तो ही  लोगों में चेतना जागृत होगी कि सोशल डिस्पेंसिंग को बनाए रखा जाए । तभी हम   कोरोना  से  जंग जीत  पाएंगे ।