प्रायवेट हॉस्पिटल नही खुले तो निरस्त करे उसका लाइसेंस - CM ने दिए निर्देश



  • निजी अस्पतालों को बंद करना संचालकों को महंगा पड़ सकता है।

  • मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कलेक्टरों को निर्देश दिए हैं


    कोरोना संकट के दौरान निजी अस्पतालों को बंद करना संचालकों को महंगा पड़ सकता है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कलेक्टरों को निर्देश दिए हैं कि यदि कोई निजी चिकित्सालय न खुले, तो उसका लाइसेंस निरस्त करें।


मुख्य सचिव इकबाल सिंह बेंस ने बताया कि मुख्यमंत्री ने कोरोना की समीक्षा के दौरान वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के लिए कलेक्टरों को कहा कि वे एक टीम बनाकर निजी अस्पतालों की जांच कराएं। जिन व्यक्तियों के कोरोना टेस्ट के सैंपल लिए गए हैं, वे कहीं न जाएं, वरना कार्रवाई होगी।


निजी चिकित्सालय न खुलें तो लाइसेंस निरस्त करें
सीएम शिवराज ने कहा कि यदि कोई निजी चिकित्सालय न खुले तो उसके लाइसेंस निरस्त करने की कार्रवाई की जाए। कलेक्टर एक टीम बनाकर दि‍खवाएं कि निजी चिकित्सालय खुल रहे हैं कि नहीं।


जिनके सैम्पल लिए गए हैं, वे कहीं न जाएं


मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि जिन व्यक्तियों के कोरोना टेस्ट के सैम्पल लिए गए हैं, वे कहीं नहीं जाएं। वे क्वैरेंटाइन में ही रहें। यदि वे कहीं जाएंगे, तो उनके विरुद्ध कार्रवाई की जाएगी। एसीएस हैल्थ मोहम्मद सुलेमान ने बताया कि प्रदेश में कोरोना टेस्टिंग के लिए 12 लैब चालू हो गए हैं तथा हमारी टेस्टिंग क्षमता 1800 प्रतिदिन हो गई है। हमारे पास पीपीई किट्स, टेस्टिंग किट्स, मास्क, दवाएं आदि पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध हैं। भारत शासन से हमें पर्याप्त सामग्री मिल रही है।